बिहार की राजनीति में भूचाल: पूर्व मंत्री पर नाबालिग से दुष्कर्म का गंभीर आरोप, अदालत ने जारी किया जमानती वारंट
Admin
Bihar news पटना बिहार की राजनीति में एक और सनसनीखेज मामला सामने आया है। नीतीश कैबिनेट के एक पूर्व वरिष्ठ मंत्री पर नाबालिग से दुष्कर्म का आरोप लगा है। इस मामले में पीड़िता ने मुजफ्फरपुर के POCSO कोर्ट में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसके बाद विशेष अदालत ने मामले का संज्ञान लेते हुए सुनवाई शुरू कर दी है। हालांकि, आरोपी पूर्व मंत्री अदालत में हाजिर नहीं हो रहे हैं, जिसके चलते कोर्ट ने उनके खिलाफ जमानती वारंट जारी किया है।
मुजफ्फरपुर जिले के एक थाना क्षेत्र की रहने वाली नाबालिग लड़की ने नवंबर 2023 में POCSO अदालत में शिकायत दर्ज कराई थी। पीड़िता ने आरोप लगाया है कि पूर्व मंत्री ने उसे पटना ले जाकर शारीरिक शोषण किया। लड़की का कहना है कि अभियुक्त, जो एक पूर्व मंत्री और सांसद रह चुके हैं, ने लगातार दो वर्षों तक उसका शारीरिक शोषण किया। उसने बताया कि अभियुक्त उसे ब्लैकमेल करते थे और अश्लील वीडियो क्लिप दिखाकर डराते थे।
Muzaffarpur POCSO कोर्ट ने मामले का संज्ञान लेते हुए सुनवाई शुरू कर दी है। अभियुक्त को 12 जून को अदालत में हाजिर होने का आदेश दिया गया था, लेकिन वे हाजिर नहीं हुए। इसके बाद अदालत ने 24 जून को उनके खिलाफ जमानती वारंट जारी किया। 6 जुलाई को भी कोर्ट में पेश नहीं हुए। इस पर अदालत ने दूसरा जमानती वारंट जारी करते हुए 31 अगस्त को हाजिर होने का आदेश दिया है।
पूर्व मंत्री, विधायक और सांसद रह चुके हैं। वे पहले JDU पार्टी से जुड़े थे, लेकिन बाद में उन्होंने इस पार्टी से नाता तोड़ लिया। इसके बाद वे RJD पार्टी में उपाध्यक्ष पद पर रहे, हालांकि कुछ समय पहले उन्होंने इस पार्टी से भी इस्तीफा दे दिया।
पीड़िता ने अपनी शिकायत में बताया है कि पूर्व मंत्री उनके गांव में जनसभा करने आए थे, जहां उसने रोजगार के मुद्दे पर उनसे बातचीत की। इसके बाद पूर्व मंत्री ने उसका नाम, पता और मोबाइल नंबर लेकर पटना आने के लिए कहा। जब वह पटना पहुंची, तो पूर्व मंत्री ने उसे अपने अपार्टमेंट में बुलाकर शारीरिक शोषण किया। पीड़िता ने अदालत के समक्ष वीडियो क्लिप और कॉल रिकॉर्डिंग भी साक्ष्य के रूप में प्रस्तुत की है।
इस घटना ने बिहार की राजनीति और समाज में हलचल मचा दी है। स्थानीय प्रशासन और पुलिस पर मामले की निष्पक्ष जांच करने का दबाव है। वहीं, समाज के विभिन्न वर्गों ने इस घटना की कड़ी निंदा की है और पीड़िता के लिए न्याय की मांग की है।
पूर्व मंत्री पर लगे दुष्कर्म के आरोप बिहार की राजनीति और प्रशासन के लिए एक गंभीर चुनौती है। अदालत की सुनवाई और निष्कर्ष के बाद ही इस मामले का पूरा सच सामने आ सकेगा। फिलहाल, सभी की निगाहें अदालत की अगली सुनवाई पर टिकी हुई हैं, जहां अभियुक्त के हाजिर होने की उम्मीद की जा रही है।